नई दिल्ली। (भाषा) दिल्ली के एक अस्पताल में डॉक्टरों ने एक दुर्लभ मामले में 38 साल की रोगी की पित्त नली से 14 जीवित गोलकृमि निकालने का दावा किया है।
शालीमार बाग स्थित फोर्टिस अस्पताल ने बताया कि बिना सर्जरी के एंडोस्कोपी की मदद से 15 से 20 सेंटीमीटर लंबे ये कृमि रोगी के शरीर से निकाले गये। अस्पताल के गैस्ट्रोएंट्रोलॉजी विभाग के प्रमुख डॉ अरविंद खुराना के नेतृत्व में डॉक्टरों ने इस प्रक्रिया को अंजाम दिया। अस्पताल के अनुसार सुनीता नाम की महिला को भयंकर पेट दर्द, बुखार, उल्टी के साथ ही पिछले छह महीने से बार-बार पीलिया की शिकायत के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
रोगी के पेट के सीटी स्कैन में यकृत को आंतों से जोड़ने वाली वाहिनी में कृमियों की मौजूदगी का पता चला। अस्पताल ने बताया कि एंडोस्कोपिक प्रक्रिया (ईआरसीपी) में 15 सें 20 सेंटीमीटर लंबे जीवित गोल कृमि निकाले गये। डॉक्टर खुराना ने कहा कि आंतों में गोल कृमि पाया जाना सामान्य बात है लेकिन पित्त नली में इनका होना असामान्य बात है। कभी कभी आंतों से ये कृमि पित्त नली में पहुंच जाते हैं, जिसके बाद दर्द, बुखार और पीलिया की शिकायत होती है। पित्त नली में दो-तीन गोलकृमि होने के तो मामले कई बार सामने आते हैं, लेकिन 14 कृमियों का होना दुर्लभ है।