केले के साथ ग्लैडियोलस की खेती से बढ़ाएं मुनाफा 

फूलों की खेती

मोविन अहमद/स्वयं प्रोजेक्ट डेस्क

रायबरेली। जिले में इन दिनों किसानों का रुझान केले की खेती की तरफ बढ़ता रहा है। केले की खेती से मिल रहे मुनाफे को बढ़ाने के लिए 56 वर्षीय साहबदीन ने केले और ग्लैडियोलस की सहफसली खेती शुरु की,जिससे उनकी लागत कम हुई और मुनाफे में चार गुना बढ़ोत्तरी हुई।

जिले के महाराजगंज ब्लॉक के ओथी गाँव के किसान साहबदीन केले के साथ ग्लैडियोलस की खेती कर रहे हैं। साहबदीन बताते हैं, ”मैं कई वर्षों से केले की खेती कर रहा हूं। केले की खेती के लिए मैंने उद्यान विभाग से प्रशिक्षण लिया और खेती शुरू की,जिससे मुझे हर साल लगभग एक लाख रुपए का मुनाफा होता था।” वो आगे बताते हैं, “कुछ वर्षों के बाद मुझे पता चला कि केले की खेती के साथ ग्लैडियोलस भी बोया जा सकता है, जिसके प्रशिक्षण के लिए मैंने बाराबंकी के उद्यान विभाग से संपर्क किया और प्रशिक्षण के बाद मैंने अपने क्षेत्र में फल और फूल की सहफसली खेती शुरू की।

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वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय भारत सरकार की कृषि और प्रसंस्कृत खाद्दय उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण की रिपोर्ट के अनुसार पिछले साल 1685 हजार टन खुले फूल और 472 हजार टन कट फ्लावर का उत्पादन हुआ। इसमें से विश्वभर में 22518.58 मीट्रिक टन पुष्प कृषि उत्पाद का निर्यात करके 479.42 करोड़ रुपए अर्जित गए। ग्लैडियोलस फूल की लगभग दस हज़ार किस्मे हैं, लेकिन कुछ मुख्य प्रजातियों की खेती उत्तर प्रदेश के मैदानी क्षेत्रो में होती है।

क्वीन, अग्नि, रेखा, पूसा सुहागिन, नजराना, आरती, अप्सरा, सोभा, सपना और बिग्स ग्लोरी इन प्रजातियों में से एक हैं। रायबरेली जिले के उद्यान विभाग के प्रधान कृषि प्रशिक्षक सुनील कुमार ने बताया,” जब तक केला छोटा होता है, उसी समय पर हम ग्लैडियोलस के बीज बो कर उसकी पौध तैयार कर सकते हैं। दोनो ही फसलों में खाद और पानी एक ही जैसा लगता है, जिससे लागत कम होती है और दोनों फसलें एक साथ तैयार हो जाती है।”

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दिसंबर में तैयार होने लगती है गलैडियोलस की नर्सरी

जिला उद्यान विभाग के अनुसार केला और ग्लैडियोलस की खेती करने के लिए मई- जून में केले की बुवाई करनी चहिए। इसके बाद अगस्त माह में केले के पौधों के बीच ग्लैडियोलस के बीज की बुवाई कर देनी चहिए। केले की फसल बिकने के बाद दिसंबर माह में ग्लैडियोलस भी तैयार होने लगता है। जनवरी माह में शादी बारातों का सीजन शुरु हो जाता है। इस समय ग्लैडियोलस की मांग अधिक होती है।

केले और ग्लैडियोलस की सहफसली खेती करने का तरीका बताते हुए साहबदीन बताते हैं, ” एक एकड़ खेत में एक हज़ार से बारह सौ केले के पौधे लगाने चाहिए। एक पौधे से दूसरे पौधे की दूरी कम से कम चार फुट होनी चाहिए, जिससे खेत घना नहीं होगा। दोनों पौधों के बीच की बची हुई भूमि में ग्लैडियोलस के बीज बो देने चाहिए लगभग दो माह में ग्लैडियोलस की पौध तैयार हो जाती है।”

वो आगे बताते हैं, “पौध तैयार होते ही हम पौध को अलग करके दूसरे खेत में लगा देते हैं। साहबदीन ग्लैडियोलस का व्यापार लखनऊ के अलावा दिल्ली, कोलकाता और मुंबई जैसे राज्यों में करते हैं। केले और ग्लैडियोलस की सहफसली खेती से साहबदीन एक सीजन में लगभग तीन से चार लाख रुपए कमा लेते हैं।”

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