राजकोट (भाषा)। भारत ने इंग्लैंड के 537 रन के जवाब में पहले टेस्ट क्रिकेट मैच के तीसरे दिन आज यहां अपनी पहली पारी में चार विकेट पर 319 रन बनाए।
चेतेश्वर पुजारा ने अपने घरेलू शहर में आकर्षक शतक जमाया जबकि मुरली विजय ने आक्रमण और रक्षण से भरी शतकीय पारी खेली जिससे भारत ने पहले टेस्ट क्रिकेट मैच के तीसरे दिन आज यहां आखिरी क्षणों में चार गेंद के अंदर दो विकेट गंवाने के बावजूद इंग्लैंड की पहली पारी के विशाल स्कोर का करारा जवाब दिया।
भारत अभी इंग्लैंड से 218 रन पीछे
भारत ने इंग्लैंड के 537 रन के जवाब में तीसरे दिन का खेल समाप्त होने तक चार विकेट पर 319 रन बनाए हैं। तीसरे दिन के खेल का आकर्षण पुजारा (124) और विजय (126) के शतक रहे। इन दोनों ने दूसरे विकेट के लिए 209 रन जोड़कर इंग्लैंड को सुबह दूसरे ओवर में गौतम गंभीर (29) के रूप में मिली सफलता का फायदा नहीं उठाने दिया। भारत अभी इंग्लैंड से 218 रन पीछे है।
पुजारा ने तीसरे सत्र में आउट होने से पहले अपनी पारी में 206 गेंदें खेली तथा 17 चौके लगाए जबकि विजय दिन का खेल समाप्त होने से कुछ देर पहले पवेलियन लौटे। उनकी 301 गेंद की पारी में नौ चौके और चार छक्के शामिल हैं।
इंग्लैंड ने कसी गेंदबाजी की
इंग्लैंड ने दूसरे और तीसरे सत्र में अनुशासित और कसी हुई गेंदबाजी का अच्छा नजारा पेश किया और उसने दिन के आखिरी पलों में वापसी की अच्छी कोशिश की। भारत ने चार गेंद के अंदर विजय के अलावा रात्रि प्रहरी अमित मिश्रा ( शून्य) का भी विकेट गंवाया। पुजारा के आउट होने के बाद क्रीज पर उतरे कप्तान विराट कोहली को शुरू में रन बनाने के लिए जूझना पड़ा। स्टंप उखड़ने के समय वह 26 रन पर खेल रहे थे।
पहली बार प्रयोग आई डीआरएस सेे पुजारा को मिला जीवनदान
भारत में पहली बार उपयोग में लाई जा रही निर्णय समीक्षा प्रणाली (डीआरएस) के कारण जीवनदान पाने वाले पुजारा ने चाय के तुरंत बाद दूसरी नई गेंद से किए गए पहले ओवर में ही क्रिस वोक्स पर एक रन लेकर टेस्ट मैचों में नौवां और इंग्लैंड के खिलाफ तीसरा शतक पूरा किया। स्टेडियम में पुजारा के नाम की गूंज थी और शतक पूरा होते ही दर्शक झूमने लगे जिनमें पुजारा के पिता और पत्नी भी शामिल थे।
विजय का लगातार 16 पारियों के बाद पहला शतक
तीसरे सत्र के पहले ओवर में इंग्लैंड के रेफरल से बचने वाले विजय पर भी इससे जोश चढ़ा। उन्होंने मोइन अली पर अपनी पारी का तीसरा छक्का लगाया और फिर स्टुअर्ट ब्राड (54 रन देकर एक विकेट) पर लगातार दो चौके जड़कर अपना सातवां टेस्ट शतक पूरा किया। विजय का यह लगातार 16 पारियों के बाद पहला और इंग्लैंड के खिलाफ दूसरा शतक है।
भारतीय क्रिकेट बोर्ड का इस श्रृंखला में निर्णय समीक्षा प्रणाली का उपयोग करने का पहला फायदा पुजारा को मिला। वह जब 86 रन पर थे तब जफर अंसारी (57 रन देकर एक विकेट) की गेंद पर अंपायर क्रिस गैफेनी ने उन्हें पगबाधा आउट दे दिया था। उन्होंने विजय के साथ मशविरा करने के बाद रेफरल लिया और ‘बाल ट्रैकर’ से पता चला कि गेंद विकेट के ऊपर से निकल रही थी।
पुजारा के अलावा विजय का भी भाग्य ने साथ दिया। वह जब 66 रन पर थे तब ब्राड की गेंद पर कवर पर खडे हसीब हमीद उनका कैच नहीं ले पाये थे। इसके बाद तीसरे सत्र के पहले ओवर में जब वह 86 रन पर थे तब इंग्लैंड ने मोईन अली की गेंद पर उनके खिलाफ रेफरल लिया था।
पुजारा की तुलना में विजय धीमा खेले लेकिन उन्होंने मौका मिलने पर कुछ लंबे शाट भी लगाए। पहले सत्र में जब मोईन की जगह बायें हाथ के स्पिनर जफर अंसारी ने गेंद सभाली तो विजय ने लांग आन पर छक्का जड़कर उनका स्वागत किया। उन्होंने अंसारी और मोईन दोनों पर दो-दो छक्के लगाए।
बेन स्टोक्स ने पुजारा का विकट लिया
यह साझेदारी आखिर में बेन स्टोक्स (39 रन देकर एक विकेट) ने तोड़ी, जिन्हें इससे पहले पुजारा ने अपने खास निशाने पर रखा था। स्टोक्स बाद में इसका बदला चुकता करने में सफल रहे। एलिस्टेयर कुक ने नई गेंद से ब्राड और वोक्स के अलावा स्पिनरों को आजमाने के बाद स्टोक्स को गेंद सौंपी। उनकी पहली गेंद ही शार्ट पिच थी जिसे पुजारा ने स्लिप में खडे कुक की तरफ खेल दिया जिन्होंने कैच लेने में गलती नहीं की।
विजय इसके बाद लगभग 17 ओवर तक कोहली के साथ क्रीज पर रहे लेकिन इस बीच इन दोनों ने केवल 41 रन जोड़े। दिन का खेल समाप्त होने से ठीक पहले उनकी एकाग्रता भंग हुई। आदिल राशिद की गुगली उनके बल्ले का उपरी किनारा लेकर सीधे शार्ट लेग पर खड़े हसीब अहमद के पास गई। अगले ओवर में अंसारी ने मिश्रा को भी शार्ट लेग पर कैच कराया।
दूसरे ओवर में गंभीर का विकेट गिरा
सुबह गंभीर का विकेट दूसरे ओवर में ही गंवाने के बाद पुजारा और गंभीर ने पहले सत्र में 94 और दूसरे सत्र में 68 रन जोडे। दोनों ने ही पूरे आत्मविश्वास के साथ बल्लेबाजी की। भारत ने सुबह बिना किसी नुकसान के 63 रन से आगे खेलना शुरू किया था।
विजय और गंभीर ने कल शाम अच्छी बल्लेबाजी की और अर्धशतकीय साझेदारी निभाई थी। गंभीर हालांकि आज अपने कल के स्कोर में केवल एक रन जोड़कर दिन की सातवीं गेंद पर पवेलियन लौट गए। लगभग दो साल तक बाहर रहने के बाद वापसी करने वाले बाएं हाथ के इस बल्लेबाज ने स्टुअर्ट ब्राड की आज की पहली फुललेंथ गेंद को लेग साइड में मोड़ना चाहा लेकिन गेंद उनके बल्ले पर नहीं आई और पगबाधा की जोरदार अपील पर अंपायर की उंगली उठ गयी। तब भारत का स्कोर 68 रन था।
विजय और नए बल्लेबाज पुजारा ने इसके बाद इंग्लैंड के भारत में तीसरे सबसे बड़े स्कोर का करारा जवाब देने का बीड़ा बखूबी उठाया। सौराष्ट्र की तरफ से रणजी ट्राफी में इसी मैदान पर तिहरा शतक जड़ने वाले पुजारा पहली गेंद से ही आत्मविश्वास से भरे हुए दिख रहे थे। उन्होंने ब्राड पर बेहतरीन टाइमिंग से खूबसूरत चौका लगाया। इसके बाद उन्होंने रन बनाने की मुख्य जिम्मेदारी तथा अपने ड्राइव, कट और पुल का शानदार नजारा पेश किया।